
जापान के प्रधानमंत्री शिगेरु इशिबा देंगे इस्तीफा , पार्टी को टूटने से बचाने के लिए छोड़ा पद
जापान - लगातार चुनावी हार और पार्टी के भीतर उठते बगावती सुरों ने आखिरकार जापान की राजनीति को हिला दिया है. प्रधानमंत्री शिगेरु इशिबा ने रविवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस में ऐलान किया कि वे सितंबर के आखिर तक पद छोड़ देंगे. यह घोषणा सिर्फ एक पद परिवर्तन नहीं बल्कि जापान की उस सियासी संस्कृति की झलक है. जहां सत्ता से चिपके रहने की बजाय नैतिक जिम्मेदारी लेकर रास्ता साफ करना नेता की प्राथमिकता होती है. इशिबा ने साफ कहा कि वे तब तक पद पर बने रहेंगे जब तक उनकी पार्टी लिबरल डेमोक्रेटिक पार्टी (LDP) नया नेता नहीं चुन लेती. यह फैसला ऐसे समय आया है जब जापान महंगाई, आर्थिक सुस्ती और वैश्विक दबाव जैसे गंभीर संकटों से गुजर रहा है.
इशिबा ने पिछले साल अक्टूबर में जापान के प्रधानमंत्री का पदभार संभाला था। पद संभालने के वक्त उन्होंने मंहगाई से निपटने, पार्टी में सुधार और कई बड़े वादे किए थे। हालांकि सत्ता में आने के बाद उनको लगातार कई तरह की चुनौतियों का सामना करना पड़ा। एलडीपी पर राजनीतिक धन उगाही घोटालों के आरोप ने उनकी मुश्किल को बढ़ाया।
दोनों सदनों में खोया बहुमत
इशिबा के सत्ता में आने के कुछ ही समय बाद एलडीपी और उसके गठबंधन सहयोगी कोमेइतो ने निचले सदन के चुनाव में अपना बहुमत खो दिया था। इसके बाद जुलाई में उच्च सदन के चुनाव में भी सत्तारूढ़ गठबंधन बहुमत से दूर रह गया। इससे इशिबा पर चुनाव परिणामों की जिम्मेदारी लेकर पद छोड़ने की मांग बढ़ गई। इसके बाद इशिबा के इस्तीफे की बात सामने आई है।